All Details About Catalyst in Chemistry in Hindi
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उत्प्रेरक (Catalyst)
वह पदार्थ जो स्वयं किसी क्रिया में भाग लिए बिना ही किसी भी प्रकार के रासायनिक क्रिया की गति को बढ़ा देता है या घटा देता है उसको उत्प्रेरक कहा जाता है और इस घटना को उत्प्रेरण भी कहा जाता है।
उत्प्रेरक के कुछ प्रमुख गुण होते है, वह मुख्य गुण जो है वो निम्न है:-
1. उत्प्रेरक भार एवं रासायनिक संगटन की दृष्टि से अभिक्रिया जो है उसके अन्त में अपरिवर्तित रहता है।
2. उत्प्रेरक जो है उसकी अल्प मात्रा ही अभिक्रियाओं को उत्प्रेरित करने के लिए बिलकुल पर्याप्त होती है।
3. उत्प्रेरक अभिक्रिया जो है उसको प्रारम्भ नहीं कर सकते हैं।
4. उत्प्रेरक जो होते है वो आमतौर पर विशिष्ट प्रकृति के होते हैं।
5. जब भी उत्प्रेरक व अभिकारक जो होते है वो समान प्रावस्था में होते हैं तो उत्प्रेरक जो है वो समांगी उत्प्रेरक कहलाते है।
6. जब भी उतप्रेरक व अभिकारक जो होते है वो भिन्न-भिन्न प्रावस्था में होते हैं, तो उत्प्रेरक जो है वो विषमांगी उत्प्रेरक कहलाते है।
7. जब भी अभिक्रिया का वेग जो होता है वो वाह्य पदार्थ की उपस्थिति में बढ़ता है तब यह धनात्मक उत्प्रेरण कहलाता है।
8. वह पदार्थ जिसकी उपस्थिति में अभिक्रिया का वेग जो है वो कम हो जाता है उसको ऋणात्मक उत्प्रेरण कहा जाता है।
CHCl3 + 1/2 O2 1% C2H5OH–> (ऋणात्मक उत्प्रेरक) COCl2 (फॉरजीन) + HCl
9. वे पदार्थ जोकि उत्प्रेरक की सक्रियता में वृद्धि कर देते हैं उसको उत्प्रेरक वर्धक कहा जाता हैं।
N2 + 3H2 Fe(उत्प्रेरक)–>Mo(वर्धक) 2NH3
10. वे पदार्थ जोकि उत्प्रेरक की सक्रियता को कम या नष्ट कर देते हैं उसको उत्प्रेरक विष कहा जाता हैं।
2SO2 + O2 (प्लेटिनीकृत एस्बेस्टस उत्प्रेरक)–> As2O3(उत्प्रेरक विष) 2SO3
11. एन्जाइम जैव जो होते है वो रासायनिक उत्प्रेरक होते हैं और इनकी प्रकृति जो है वो विशिष्ट होती है और इनकी दक्षता जो होती है वो उच्च होती है और इनकी सक्रियता के लिए अनुकूलतम तापमान जो होता है वो 298 K से 310 K तक होता है।
C12H22O11 (सुक्रोस) इंवर्टेस–> C6H12O6 (ग्लूकोस) + C6H12O6 (फ्रक्टोस)
NH2CONH2 (यूरिया) + H2O यूरिऐस–> 2NH3 + CO2
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